
बॉलीवुड के प्रसिद्ध रैपर Badshah, जिन्हें उनके अनोखे अंदाज़ और गानों की बदौलत देश-विदेश में खास पहचान मिली है, आज किसी परिचय के मोहताज नहीं हैं। लेकिन बहुत कम लोग जानते हैं कि बादशाह का असली नाम आदित्य प्रतीक सिंह सिसोदिया है। 19 नवंबर 1985 को दिल्ली में जन्मे बादशाह ने अपनी अलग पहचान बनाने के लिए अपना नाम बदलकर ‘बादशाह’ रखा। उनके गानों की धुनें न केवल भारत में, बल्कि विदेशों में भी धूम मचाती हैं।
इंजीनियर से रैपर बनने का सफर
दिल्ली में पले-बढ़े बादशाह ने प्रारंभिक शिक्षा के बाद चंडीगढ़ से इंजीनियरिंग की पढ़ाई की। एक समय था जब वह साइट पर हेलमेट पहनकर सिविल इंजीनियर के रूप में काम करते थे। उनकी मेहनत और काम की उनके सहकर्मियों द्वारा सराहना की जाती थी। लेकिन संगीत के प्रति उनका जुनून इतना प्रबल था कि उन्होंने इंजीनियरिंग को अलविदा कह दिया। बादशाह ने खुद एक इंटरव्यू में बताया कि वह बचपन से ही गायक बनना चाहते थे।


परिवार को मनाना था चुनौतीपूर्ण
रैपर बनने का बादशाह का सपना उनके परिवार के लिए किसी आश्चर्य से कम नहीं था। उनके माता-पिता ने उनसे पूछा, “यह रैप क्या होता है?” जवाब में बादशाह ने उन्हें 50 सेंट का एक रैप वीडियो दिखाया। वीडियो देखने के बाद माता-पिता ने कहा, “पहले बड़े हो जाओ, फिर जो करना है, वो करो।” बादशाह ने बताया कि उन्हें अपने परिवार को समझाने और मनाने में कड़ी मेहनत करनी पड़ी।
संगीत करियर की शुरुआत 2006 में
बादशाह ने 2006 में हनी सिंह के म्यूज़िक ग्रुप ‘माफिया मुंडीर’ के साथ अपने करियर की शुरुआत की। हालांकि, कुछ समय बाद विवादों के चलते उन्होंने इस ग्रुप से अलग होने का फैसला किया। इसके बाद उन्होंने इंद्रदीप बक्शी के साथ ‘सैटरडे सैटरडे’ गाना बनाया, जो एक बड़ा हिट साबित हुआ।
‘डीजे वाले बाबू’ से मिली असली पहचान
बादशाह को असली पहचान गाने ‘डीजे वाले बाबू’ से मिली। उन्होंने यह गाना आस्था गिल के साथ मिलकर गाया। यह गाना इतना लोकप्रिय हुआ कि हर जुबां पर बादशाह का नाम छा गया। इसके बाद उन्होंने कई हिट गाने दिए और युवाओं के बीच अपनी अलग पहचान बनाई।
हिट गानों की लंबी फेहरिस्त
बादशाह ने ‘सैटरडे सैटरडे’, ‘डीजे वाले बाबू’, ‘करीना तेरा पैंटोनी’ जैसे कई सुपरहिट गाने दिए हैं। उनके गानों की खासियत यह है कि वे न केवल डांस फ्लोर पर धूम मचाते हैं, बल्कि युवाओं के दिलों को भी छू जाते हैं।
संगीत की दुनिया का चमकता सितारा
आज बादशाह का नाम भारतीय संगीत उद्योग के बड़े रैपर्स में शुमार होता है। उन्होंने अपनी मेहनत और जुनून के दम पर संगीत की दुनिया में अपनी अलग पहचान बनाई है। उनका सफर यह सिखाता है कि अगर दिल से कुछ पाने की चाहत हो और सच्चे मन से मेहनत की जाए, तो हर मुश्किल राह आसान हो जाती है।
प्रेरणादायक कहानी
39 वर्षीय बादशाह ने अपनी कहानी से यह साबित किया कि जब दिल में कुछ पाने का जुनून हो, तो कोई भी बाधा बड़ी नहीं होती। इंजीनियरिंग के क्षेत्र को छोड़कर संगीत में करियर बनाना आसान नहीं था, लेकिन उन्होंने इसे मुमकिन कर दिखाया। उनकी कहानी युवाओं को प्रेरित करती है कि अपने शौक और जुनून को प्राथमिकता देना बेहद जरूरी है। यदि सच्चे मन से अपने सपनों को पूरा करने की कोशिश की जाए, तो सफलता निश्चित है।
बादशाह का संगीत के प्रति समर्पण
बादशाह के गाने युवाओं में खास तौर पर इसलिए लोकप्रिय हैं क्योंकि वे उनसे खुद को जोड़ पाते हैं। उनके हर गाने में एक अलग ऊर्जा होती है, जो न केवल सुनने वालों को नाचने पर मजबूर करती है, बल्कि उनकी भावनाओं को भी छू जाती है।
बॉलीवुड में बढ़ती लोकप्रियता
बादशाह ने बॉलीवुड की कई फिल्मों के लिए गाने दिए, जो ब्लॉकबस्टर साबित हुए। उनकी लोकप्रियता दिन-ब-दिन बढ़ती जा रही है। उन्होंने दिखाया कि अगर आपको अपनी मंज़िल का पता है, तो दुनिया की कोई ताकत आपको रोक नहीं सकती।
एक आम आदमी से खास बनने का सफर
बादशाह का सफर एक आम आदमी के खास बनने की कहानी है। उनकी जिंदगी सिखाती है कि हर इंसान के अंदर कुछ खास होता है, जिसे पहचानने और निखारने की जरूरत होती है। उनकी प्रेरणादायक कहानी हर उस व्यक्ति के लिए सबक है, जो अपने सपनों को साकार करने की हिम्मत रखता है।
बादशाह: संगीत की दुनिया का ब्रांड
आज बादशाह सिर्फ एक नाम नहीं बल्कि संगीत की दुनिया में एक बड़ा ब्रांड बन चुके हैं। उनके गानों की धुनें न केवल दिलों को छूती हैं, बल्कि यह साबित करती हैं कि संगीत में वह जादू है, जो हर दिल को अपना बना सकता है।
बादशाह का सफर उन युवाओं के लिए प्रेरणा है, जो अपनी पसंद को करियर बनाना चाहते हैं। उनकी कहानी बताती है कि मेहनत और जुनून से हर सपना साकार किया जा सकता है। इंजीनियरिंग से संगीत तक का उनका सफर यह साबित करता है कि जब इंसान अपने सपनों को जीने का फैसला करता है, तो सफलता उसके कदम चूमती है।

