
Afghanistan में रविवार रात (9 फरवरी) को एक बार फिर भूकंप के झटके महसूस किए गए। राष्ट्रीय भूकंप विज्ञान केंद्र (NCS) के अनुसार, रात 10:08 बजे 4.2 तीव्रता का भूकंप अफगानिस्तान में महसूस किया गया। भूकंप का केंद्र 36.51 डिग्री उत्तर अक्षांश और 70.97 डिग्री पूर्व देशांतर पर था, और इसकी गहराई 180 किलोमीटर थी। यह भूकंप मध्यम तीव्रता का था, जो अफगानिस्तान में हाल के दिनों में भूकंपों की श्रृंखला में एक और जोड़ा गया।
अफगानिस्तान में भूकंपों की बढ़ती संख्या
यह पहला भूकंप नहीं था, बल्कि इससे पहले भी अफगानिस्तान में भूकंप के कई झटके महसूस किए जा चुके हैं। महज कुछ दिन पहले, 4 फरवरी को 4.3 और 4.1 तीव्रता के दो भूकंपों ने क्षेत्र को हिला दिया था। इन भूकंपों के दौरान भी जानमाल का नुकसान हुआ था। 4.3 तीव्रता का भूकंप भारतीय समयानुसार 1:42:18 बजे 10 किलोमीटर की गहराई पर आया था, जबकि 4.1 तीव्रता का भूकंप 14:58:48 IST पर 10 किलोमीटर की गहराई पर आया था। इन भूकंपों ने अफगानिस्तान की भूकंपीय गतिविधि को फिर से प्रदर्शित किया है।

अफगानिस्तान में भूकंपों के प्रमुख कारण
अफगानिस्तान में भूकंपों के लगातार होने के पीछे का प्रमुख कारण इसका भौगोलिक स्थिति है। अफगानिस्तान दक्षिण-मध्य एशिया में स्थित है, जो एक भूकंपीय रूप से सक्रिय क्षेत्र में आता है। यह क्षेत्र ऐल्पाइन-हिमालयन बेल्ट का हिस्सा है, जो दुनिया के सबसे सक्रिय भूकंपीय क्षेत्रों में से एक माना जाता है। इस क्षेत्र में भूकंपों के कारण कई भौगोलिक और भूविज्ञानिक कारण होते हैं।

EQ of M: 4.2, On: 09/02/2025 22:08:55 IST, Lat: 36.51 N, Long: 70.97 E, Depth: 180 Km, Location: Afghanistan.
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अफगानिस्तान में कई सक्रिय दोष रेखाएं (geological fault lines) हैं, जिनके कारण यहाँ भूकंप आते हैं। जब इन दोष रेखाओं पर टेक्टोनिक प्लेटों में हलचल होती है, तब भूकंप का निर्माण होता है। चमन दोष और हेरात दोष जैसी प्रमुख दोष रेखाएं इस क्षेत्र में भूकंपीय गतिविधि का कारण बनती हैं।
भूकंप से होने वाली जानमाल की हानि
अफगानिस्तान में भूकंपों से होने वाली जानमाल की हानि भी अत्यधिक होती है। इसका मुख्य कारण यहां की भूकंपीय स्थिति के साथ-साथ निर्माण की कमजोरियों और आपदा प्रबंधन के साधनों की कमी है। अफगानिस्तान के कई इलाकों में पुराने और अव्यवस्थित निर्माण होते हैं, जो भूकंप के झटकों को झेलने में सक्षम नहीं होते। यही कारण है कि भूकंपों के बाद व्यापक स्तर पर जानमाल का नुकसान होता है।
अक्टूबर 2023 में हुआ था भयानक भूकंप
अक्टूबर 2023 में अफगानिस्तान के हेरात क्षेत्र में 6.3 तीव्रता का एक भीषण भूकंप आया था, जिसने कई गांवों को बुरी तरह प्रभावित किया था। इस भूकंप में सैकड़ों लोग अपनी जान गंवा बैठे थे। भूकंप के बाद स्थिति और भी गंभीर हो गई क्योंकि अफगानिस्तान के चिकित्सा सुविधाएं पहले से ही खराब थीं, और आपातकालीन सेवाओं की कमी के कारण मरने वालों की संख्या में इज़ाफा हुआ।
भूकंप की पुनरावृत्ति और नागरिक सुरक्षा
अफगानिस्तान में लगातार भूकंपों के आने के कारण नागरिक सुरक्षा एक बड़ी चिंता का विषय बन गई है। सरकार और राहत एजेंसियां इस समस्या का समाधान निकालने के लिए प्रयासरत हैं, लेकिन संसाधनों की कमी और राजनीतिक अस्थिरता ने राहत कार्यों को प्रभावित किया है। भूकंपों के बाद राहत और पुनर्निर्माण कार्यों में समय और साधनों की भारी कमी है, जिससे प्रभावित लोगों को तत्काल मदद नहीं मिल पाती।
क्या हैं अफगानिस्तान में भूकंप की भविष्यवाणी के उपाय?
अफगानिस्तान में भूकंप की भविष्यवाणी करना एक चुनौतीपूर्ण कार्य है क्योंकि यह क्षेत्र सक्रिय भूकंपीय गतिविधि से प्रभावित है। हालांकि, वैज्ञानिकों द्वारा कई उपायों के माध्यम से भूकंपीय निगरानी की जा रही है, जैसे कि भूकंप के झटकों को मापने के लिए भूकंपीय सेंसर और अन्य निगरानी प्रणालियाँ स्थापित करना। इसके बावजूद, पूरी तरह से भूकंप की सटीक भविष्यवाणी करना मुश्किल है।
भूकंप के प्रभाव को कम करने के उपाय
अफगानिस्तान में भूकंप के प्रभाव को कम करने के लिए एक मजबूत आपदा प्रबंधन तंत्र की आवश्यकता है। इसके लिए कुछ प्रमुख उपाय किए जा सकते हैं:
- भूकंपीय सुरक्षा के मानक: निर्माण कार्यों में भूकंपीय सुरक्षा मानकों का पालन करना चाहिए ताकि इमारतें भूकंप के दौरान न गिरें।
- जन जागरूकता: नागरिकों को भूकंप के दौरान क्या करना चाहिए, इस बारे में प्रशिक्षण और जागरूकता कार्यक्रम चलाए जाने चाहिए।
- आपातकालीन सेवाओं का सुधार: आपातकालीन सेवाओं का सुधार और राहत कार्यों को तेज करना चाहिए, ताकि भूकंप के बाद तत्काल सहायता पहुंचाई जा सके।
अफगानिस्तान में भूकंपों का सिलसिला लगातार जारी है, और यह क्षेत्र एक संवेदनशील भूकंपीय क्षेत्र है। यहां की भौगोलिक संरचना और सक्रिय दोष रेखाएं इसे भूकंप के प्रति अधिक संवेदनशील बनाती हैं। हालांकि, इस स्थिति में सुधार के लिए अनेक उपाय किए जा सकते हैं, लेकिन इन उपायों को प्रभावी बनाने के लिए सरकार और अंतरराष्ट्रीय समुदाय को एक साथ मिलकर काम करना होगा। अफगानिस्तान में भूकंपों के कारण होने वाली हानि को कम करने के लिए बेहतर निर्माण मानकों, नागरिक सुरक्षा उपायों और आपदा प्रबंधन तंत्र की आवश्यकता है।

